CG News : अमित शाह ने लाल आतंक को याद दिलाई 31 मार्च 2026 की डेटलाइन, बोले.अब बात करने को कुछ नहीं..हथियार डालें या परिणाम भुगतें

- Rohit banchhor
- 05 Oct, 2025
नक्सलवाद बस्तर के विकास सबसे बड़ा रोड़ा, जनता से कहा.. आपके अधिकार और अवसर अब कोई नहीं छीन सकता
CG News: रायपुर/जगदलपुर। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने छत्तीसगढ़ के बस्तर में नक्सलियों को कड़ा संदेश देते हुए अंतिम चेतावनी दी है। शाह ने दो टूक में स्पष्ट किया कि नक्सलियों को 31 मार्च 2026 तक हथियार डालने होंगे, अन्यथा सरकार नक्सलवाद को जड़ से खत्म करने के लिए निर्णायक कार्रवाई करेगी। शाह ने यह भी कहा कि केंद्र और छत्तीसगढ़ सरकार बस्तर सहित सभी नक्सल प्रभावित क्षेत्रों के विकास के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं, और बातचीत की अब कोई गुंजाइश नहीं है।
मां दंतेश्वरी के दर्शन और बस्तर दशहरा लोकोत्सव
अमित शाह ने अपने बस्तर दौरे की शुरुआत जगदलपुर में मां दंतेश्वरी मंदिर में दर्शन के साथ की। इसके बाद उन्होंने बस्तर जिले के मुख्यालय जगदलपुर में आयोजित 'बस्तर दशहरा लोकोत्सव' और 'स्वदेशी मेला' को संबोधित किया। इस मंच से उन्होंने नक्सलियों को अपनी अंतिम चेतावनी दी और क्षेत्र के विकास के लिए सरकार की योजनाओं का जिक्र किया।
अंतिम चेतावनी: हथियार डालें या परिणाम भुगतें
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए शाह ने नक्सलियों को दो टूक शब्दों में कहा, "31 मार्च 2026 तक हथियार डाल दें, क्योंकि इसके बाद नक्सलवाद को पूरी तरह समाप्त कर दिया जाएगा। उन्होंने स्पष्ट किया कि सरकार ने एक आकर्षक आत्मसमर्पण और पुनर्वास नीति लागू की है, जिसके तहत नक्सलियों को मुख्यधारा में शामिल होने का मौका दिया जा रहा है। शाह ने कहा, अब बातचीत का समय खत्म हो चुका है। या तो हथियार डालें, या परिणाम भुगतने के लिए तैयार रहें।
नक्सलवाद: बस्तर के विकास का सबसे बड़ा रोड़ा
केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा कि, नक्सलवाद बस्तर और छत्तीसगढ़ के विकास में सबसे बड़ी बाधा है। शाह ने कहा, कुछ लोग दिल्ली में यह गलत प्रचार करते रहे हैं कि नक्सलवाद विकास की लड़ाई से उपजा है। लेकिन, मैं अपने आदिवासी भाइयों को स्पष्ट करना चाहता हूं कि नक्सलवाद ही बस्तर के विकास में सबसे बड़ा अवरोध रहा है। शाह ने जोर देकर कहा कि नक्सलियों ने क्षेत्र के आदिवासियों को उनके अधिकारों और विकास के अवसरों से वंचित रखा है।
शांति भंग करने वालों को मिलेगा करारा जवाब
शाह ने चेतावनी दी कि हथियारों के बल पर बस्तर की शांति भंग करने वालों को सुरक्षा बल कड़ा जवाब देंगे। उन्होंने कहा, हमारी सरकार शांति और विकास के पक्ष में है, लेकिन जो लोग हिंसा का रास्ता अपनाएंगे, उन्हें बख्शा नहीं जाएगा। शाह ने कहा, यह आपका आखिरी मौका है। मुख्यधारा में शामिल हो जाइए और बस्तर के विकास में भागीदार बनिए। अन्यथा, सरकार नक्सलवाद को खत्म करने के लिए हर जरूरी कदम उठाएगी।" उन्होंने स्थानीय समुदाय से अपील की कि वे नक्सलवाद से गुमराह हुए लोगों को हिंसा छोड़कर मुख्यधारा में शामिल होने के लिए प्रेरित करें।
छत्तीसगढ़ के लिए 4 लाख करोड़ का योगदान
अमित शाह ने नरेंद्र मोदी सरकार के पिछले 10 वर्षों के कार्यकाल में छत्तीसगढ़ के विकास के लिए किए गए प्रयासों का जिक्र किया। उन्होंने बताया कि केंद्र सरकार ने राज्य के लिए 4 लाख करोड़ रुपये से अधिक का निवेश किया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से मैं आपको आश्वस्त करता हूं कि 31 मार्च 2026 के बाद नक्सलवाद बस्तर के विकास को नहीं रोक पाएगा। शाह ने कहा अब आपके अधिकार और अवसर कोई नहीं छीन सकता।
आत्मसमर्पण और पुनर्वास नीति मुख्यधारा में लौटने का अंतिम मौका
शाह ने नक्सलियों से सरकार की आत्मसमर्पण और पुनर्वास नीति का लाभ उठाने की अपील की। उन्होंने कहा, हमने एक ऐसी नीति बनाई है जो नक्सलियों को सम्मानजनक तरीके से समाज की मुख्यधारा में लौटने का अवसर देती है। जो लोग हिंसा छोड़ना चाहते हैं, उनके लिए यह अंतिम मौका है। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि सरकार नक्सलवाद को समाप्त करने के लिए अपनी रणनीति पर अडिग है।
बस्तर में विकास की नई लहर
अमित शाह ने अपने संबोधन में बस्तर के विकास के लिए केंद्र और राज्य सरकार की योजनाओं पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि बस्तर में शिक्षा, स्वास्थ्य, और बुनियादी ढांचे के विकास के लिए कई परियोजनाएं शुरू की गई हैं। केंद्रीय गृहमंत्री ने कहा हमारा लक्ष्य बस्तर को नक्सलवाद के साये से मुक्त कर एक समृद्ध और सुरक्षित क्षेत्र बनाना है।