Tejas Mk1A Fighter Aircraft: नालिया एयरबेस पर होगी तेजस Mk1A की तैनाती, पश्चिमी सीमा को मिलेगी नई ताकत

Tejas Mk1A Fighter Aircraft: नई दिल्ली: भारतीय वायुसेना का गुजरात के तटीय इलाके में स्थित नालिया एयरफोर्स स्टेशन अब स्वदेशी तेजस Mk1A लड़ाकू विमानों की तैनाती के लिए तैयार हो रहा है। यह कदम वायुसेना के आधुनिकीकरण की दिशा में एक बड़ा बदलाव है। पहले यहां मिग-21 विमान तैनात थे, लेकिन अब तेजस Mk1A के आने से पश्चिमी सीमा की सुरक्षा को नई ताकत मिलेगी। नालिया एयरबेस पाकिस्तान की सीमा के पास ‘सर क्रीक’ से केवल 100 किलोमीटर दूर है और भारत की पश्चिमी हवाई रक्षा के लिए बेहद अहम है।
Tejas Mk1A Fighter Aircraft: सामरिक महत्व
तेजस Mk1A की तैनाती से पश्चिमी सीमा पर निगरानी, त्वरित जवाबी कार्रवाई और रणनीतिक आक्रमण में नई मजबूती आएगी। यह एयरबेस पाकिस्तान के मासरूर एयरबेस के ठीक सामने है, जो कराची के नजदीक पाकिस्तानी नौसेना और वायुसेना का प्रमुख ठिकाना है। तेजस Mk1A नालिया को मासरूर एयरबेस के खिलाफ एक शक्तिशाली जवाबी ताकत बनाएगा।
Tejas Mk1A Fighter Aircraft: पहले से तैयारी
नालिया एयरबेस पर पहले तेजस Mk1 के फाइनल ऑपरेशनल क्लीयरेंस (FOC) संस्करण को तैनात किया जा चुका है। 2024 में वायुसेना ने अपनी 18वीं स्क्वाड्रन ‘फ्लाइंग बुलेट्स’ को यहां Deploy कर तेजस के लिए बुनियादी ढांचा तैयार करना शुरू किया था। अब तेजस Mk1A की तैनाती मिग-21 के युग को अलविदा कहकर आधुनिक युग की शुरुआत करेगी।
Tejas Mk1A Fighter Aircraft: तेजस Mk1A की खासियत
तेजस Mk1A में उन्नत एवियोनिक्स, बेहतर गतिशीलता, आधुनिक हथियार प्रणालियां और पायलट सुरक्षा के लिए खास सुविधाएं हैं। यह दुश्मन के खतरों का तेजी से जवाब देने में सक्षम है। पिछले एक साल में नालिया पर इसके उड़ान परीक्षण हुए हैं, जिसमें एंटी-बम हैंगर, उन्नत रडार सिस्टम और विशेष रखरखाव सुविधाओं को विकसित किया गया है।